पत्रकार राणा अयूब ने हाल में खुलासा किया कि वह एक भयंकर अश्लील वीडियो के हमले का शिकार हुईं. उनका पोर्न बनाकर वायरल करने वाली जमात कथित रूप से कुंठित राष्ट्रवादियों की जमात थी, जो एक बड़ी राजनीतिक पार्टी को पसंद करते हैं या उससे जुड़े हैं. अयूब को उनका यह अश्लील वीडियो बीजेपी के उनके एक सूत्र ने पहली बार भेजा था, उन्हें बताने के लिए कि उनपर किस तरह का हमला तैयार किया गया है.
2018 अप्रैल में राणा अयूब को गंभीर रूप से मानसिक और शारीरिक ट्रामा से गुजरना पड़ा. उनपर बना पोर्न वीडियो हर जगह वायरल था.
डीपफेकिंग एआई-आधारित छवि संश्लेषण तकनीक जो कृत्रिम बुद्धिमत्ता पर काम करती है, जो वीडियो छवियों को मॉर्फ कर किसी अन्य के शरीर पर किसी अन्य का चेहरा आरोपित कर अश्लील वीडियो बनाने के लिए प्रयोग किया जाता है. राणा अयूब भी इसी तकनीक का शिकार हुईं उनके चेहरे को अश्लील क्लिप में रख दिया गया था और इस तरह इसे प्रसारित किया था जैसे कि उसमे उन्होंने अभिनय किया हो. कठुआ बलात्कार पीड़िता के पक्ष खड़ा होने के तुरंत बाद का यह जघन्य प्रतिसाद उन्हें मिला था.
“यह विनाशकारी था. मैं सिर्फ अपना चेहरा नहीं दिखा पा रही थी किसी को. आप खुद को एक पत्रकार कह सकते हैं, आप खुद को नारीवादी कह सकते हैं. लेकिन उस पल में मैं अपमान बोध में खुद को नहीं देख पा रही थी.
संयुक्त राष्ट्र की विशेष संवाददाता डेविड काये ने राणा अयूब पर अपनी एक स्टोरी में कहा है कि, “हम अक्सर कल्पना करना चाहते हैं कि ऑनलाइन खतरे सिर्फ ऑनलाइन हैं, वे सिर्फ अभिव्यक्ति हैं, उन्हें संरक्षित किया जाना है, और वे ऑफलाइन स्पेस में नहीं जा रहे हैं।..लेकिन यह स्पष्ट रूप से सच नहीं है।”
वाशिंगटन पोस्ट में Siobhán O’Grady के स्टोरी के अनुसार संयुक्त राष्ट्र संघ ने भारत सरकार पर पत्रकारों के साथ इस तरह के हमले को लेकर सख्त एतराज जताया है एक बयान में यह कहा गया है कि वे “बहुत चिंतित हैं कि राणा अयूब का जीवन इन ग्राफिक और खतरों के बाद गंभीर जोखिम पर है।” उन्होंने भारतीय अधिकारियों को सुरक्षा के लिए बुलाया और कहा कि उन लोगों की जांच करें जो उसे डरा रहे हैं। यु एन विशेषज्ञों का मानना है कि गौरी लंकेश के बाद अब उनका जीवन जोखिम में हो सकता है.
2010 से, अयूब ने कहा कि उन्हें लगातार उन लोगों द्वारा परेशान किया गया है जो उनकी रिपोर्टिंग से असहमत हैं। खतरनाक या अपमानजनक संदेश वॉयस कॉल, टेक्स्ट, व्हाट्सएप, फेसबुक, इंस्टाग्राम और ट्विटर के माध्यम से आते हैं। वे अक्सर प्रकृति में अश्लील और गंदे होते हैं.
जिस दिन गौरी लंकेश की मृत्यु हो गई, पत्रकार राणा अयूब ने ट्वीट किया कि लंकेश ने हाल ही में अयूब की खोजी पुस्तक “गुजरात फाइल्स: एनाटॉमी ऑफ़ ए कवर अप” के कन्नड़-भाषा संस्करण को प्रकाशित किया था। राणा अयूब की यह किताब आठ महीनो की जोखिम भरी कड़ी खोज का नतीजा थी जो 2002 के गुजरात दंगो पर आधारित है और जिसमे आज के प्रधान मंत्री नरेंद्र मोदी की केन्द्रीय भूमिका के रूप में देखा गया है. राणा अयूब को इतना परेशान किया गया है कि उन्हें एक समय बावन सिम कार्ड बदलने पड़े. एक समन्वयित सोशल मीडिया अभियान के तहत उन्हें लगातार ट्रोल किया जा रहा है. उन्हें “वह एक आई एस आई एस की सेक्स गुलाम है”, “वह जिहादी जेन है”, “वह एक वेश्या है”, जैसे विशेषण उनके लिए आम हैं.
राणा अयूब की यह आप बीती भारतीय समाज की पितृसत्तात्मक सोच को ही नंगा नहीं करता वरण सत्ता में बैठे लोगों और खुद सत्ता के अनैतिक चरित्र को उजागर करता है. एक निर्विक, बहादुर पत्रकार जिसने कभी भी जोखिमो की परवाह नहीं की, पर समाज के कुछ तथाकथित हिन्दुत्ववादी, भक्त समूह जब किसी के स्वाभिमान और चरित्र को तार तार करने पर उतारू हो जाएं और मानवीयता की साड़ी हदें पार कर जाएं तो राणा अयूब जैसी पत्रकार भी कुछ पल के लिए साहस खो बैठती है…
राणा अयूब की आपबीती:
‘पूरा देश वो क्लिप देख रहा था, लोग मुझसे पूछ रहे थे- एक रात की कीमत’
‘लड़की के शरीर पर मेरा चेहरा था, वो कपड़े उतार रही थी और मैं रो रही थी’
राणा अयूब ने आगे बताया, ‘मैंने वीडियो क्लिप देखी तो उस लड़की के शरीर पर मेरा चेहरा था। उसने जैसे ही कपड़े उतारना शुरू किया, मैंने रोना शुरू कर दिया. इससे पहले कि मैं खुद को संभाल पाती, मेरे फोन में बीप की आवाज आने लगी. मैंने देखा कि मेरे पास ट्विटर पर करीब 100 नोटिफिकेशन आ चुके थे और ये सभी उसी वीडियो क्लिप को शेयर कर रहे थे. मुझे मेरे दोस्तों ने कहा कि मैं ट्विटर अकाउंट को डिलीट कर दूं, लेकिन मैंने ऐसा नहीं किया, क्योंयकि नहीं चाहती थी कि लोग ऐसा समझें कि उस वीडियो क्लिप में सचमुच मैं ही हूं.’
यह वीडियो 40,000 बार शेयर किया गया
राणा अयूब ने टि्वटर उस वीडियो को शेयर होता देखने के बाद फेसबुक पर लॉग-इन किया. यहां पर भी मैसेजेज की भरमार थी.… ‘मुझे नहीं पता था कि तुम्हादरी बॉडी इतनी स्टमनिंग है.’ इस तरह के मैसेज लोग भेज रहे थे. राणा अयूब ने बताया कि उन्होंवने अपना फेसबुक अकाउंट डिलीट कर दिया, लेकिन उत्पी ड़न का सिलसिला इंस्टाभग्राम तक पहुंच गया. इंस्टािग्राम पर लोग वीडियो क्लिप के स्क्री न शॉट शेयर करके कमेंट कर रहे थे. एक बीजेपी लीडर के फैन पेज से भी वीडियो शेयर किया गया. वीडियो को करीब 40,000 बार शेयर किया गया.
मेरे नंबर को हर जगह शेयर किया गया..लोग मेरी कीमत पूछने लगे.
राणा अयूब ने बताया कि उन पर हो रहा अत्यालचार यहीं पर खत्मे नहीं हुआ. एक और ट्वीट सर्कुलेट किया गया. इसमें वीडियो का स्क्रीउन शॉट लगा था और मेरा नंबर भी लिखा था. उस स्क्री नशॉट में लिखा था, ‘Hi यह मेरा नंबर है, मैं यहां उपलब्धी हूं.’ इसके स्क्री न शॉट के सर्कुलेट होते ही वॉट्सऐप पर लोग मुझे मैसेज भेजकर सेक्स करने के लिए रेट पूछने लगे.
राणा अयूब ने कहा- मैं भाई को फेस नहीं कर पाई, पूरा देश वो क्लिप देख रहा था, जिसमें कहा गया कि ‘ये मैं हूं’
राणा अयूब ने बताया, ‘इतना सब झेलने के बाद मेरी हालत खराब हो गई. मुझे अस्पताल में भर्ती कराया गया. डॉक्टर ने मुझे दवा दी, पर मैं उल्टियां कर रही थी. मैं बुरी तरह तनावग्रस्त थी. मेरा भाई मुंबई से दिल्लीड आया, मैं परिवार में से किसी को फेस नहीं कर पाई, मैं बेहद शर्मसार थी. पूरा देश एक पॉर्न क्लिप देखा रहा था, जिसमें यह दावा किया गया था कि यह मेरी क्लिप है और मैं कुछ न कर पाने की स्थिति में थी.’